मेरठ में एंटी करप्शन की टीम ने यूपी पुलिस के रिश्वतखोर दरोगा को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। भावनपुर थाने की अब्दुल्लापुर चौकी पर तैनात दरोगा विक्रम सिंह को एंटी करप्शन की टीम ने 20 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ लिया है। दरोगा विक्रम सिंह ने मारपीट के मुकदमे में एफआर लगाने के नाम पर पीड़ित पक्ष से 20 हजार रुपए की मांग की थी।पीड़ित ने दरोगा की शिकायत एंटी करप्शन से कर दी।
एंटी करप्शन की टीम ने पहले मामले की संज्ञान में लेते हुए कार्यवाही की। इसके बाद शनिवार को ट्रैप एक्शन के तहत दरोगा को भावनपुर थाने में ही रंगे हाथों 20 हजार रुपयों की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया गया। टीम दरोगा को लेकर थाने आई है। आगे की कार्यवाही की जा रही है। थाना सिविल लाइन में मुकदमा दर्ज कराया जा रहा है।
रंगे हाथों पकड़े जाने पर दारोगा विक्रम सिंह ने टीम के सदस्य को धक्का देकर भागने का प्रयास किया। इस दौरान हुई धक्का मुक्की में एंटी करप्शन टीम के कई लोगों के कपड़े फट गए। बाद में पुलिस दरोगा को गिरफ्तार कर थाना सिविल लाइन ले आई है। यहां उससे पूछताछ की जा रही है।
एंटी करप्शन अधिकारी ने बताया कि अब्दुल्लापुर निवासी इमरान चौहान के खिलाफ थाना भावनपुर पर एक मारपीट की रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी। इसमें उसका नाम गलत लिखाया गया था। महिला दरोगा अर्चना ने नाम निकालने के नाम पर 50 हजार रुपये मांगे और दारोगा विक्रम सिंह से बात करने को कहा। इसके बाद मामला 20 हजार रुपयों में तय हुआ।
पीड़ित इमरान ने चाय की दुकान पर ले जाकर दरोगा को रकम दी। इमरान ने एंटी करप्शन टीम को पूरे मामले की जानकारी दी। इसके बाद एक टीम गठित की गई। शनिवार को इमरान रुपया लेकर एंटी करप्शन टीम के साथ अब्दुल्लापुर पहुंचा। यहां उसे दरोगा विक्रम सिंह चाय की दुकान पर ले गया और 500 के नोट में 20 हजार रुपए दिए। तभी पकड़ा गया।