मेरठ । चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, के उर्दू विभाग के प्रेमचंद सेमिनार हॉल में दोपहर 3 बजे एक भव्य मुशायरे का आयोजन किया गया। इसकी अध्यक्षता प्रसिद्ध शायर शादान फलावदी ने की। मुख्य अतिथि के रूप में आदिल चौधरी (प्रसिद्ध नेता) और हाजी इमरान सिद्दीकी (प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता) ने भाग लिया। मुशायरे का आयोजन युवा कवि इरशाद बेताब ने किया। इस अवसर पर पढ़े गये चयनित शेर पाठकों के लिए प्रस्तुत किए।
वह पूरी जिंदगी सलीम से नहीं मिल पाईं
वो जिंदगी जिसने मां का आंचल छीन लिया
– सलीम अख्तर सलीम, स्याना
मेरा सारा जीवन भारी था
एक घंटा भी नहीं बीता
– विरासत
क्या आपकी दुनिया में ऐसा कोई कलाकार है भगवान?
जिसने मुर्दा दर्द को मुर्दा तस्वीर से उकेरा।
– अली खान
भूख इंसान को शैतान बना सकती है
एक माँ की लोरी है जो भूखे को भी शांत कर देती है
– फखरी मेरठी
जिक्र इतना छोटा नहीं है
यह डार पर भी ख़त्म नहीं होगा
– सैयद मुहम्मद
मुझे एक अत्याचारी के हाथों मरना होगा
मैं कहानी का पात्र हूं
– ज्ञान ग़ज़ल
ये खबर अखबार में छपवा दो
वह आदमी बाजार में बेचने लगा
तुलसी कबीर की कलम । रोयी
कविता को इस तरह देखना
मंदिर-मस्जिद अब अपना पेट भरेंगे भूख की व्यर्थ चर्चा मत करो
– डॉ. रामगोपाल भारतीय
विरह का दुःख दूर हो जायेगा
धैर्य, धैर्य आएगा, आएगा
जीवन भर तुम्हारी प्रार्थनाओं में शामिल रहा
वह साँसों में धड़कनों में मुस्कुराएगा
– इरशाद बेताब
जब भी तुमसे मुलाकात होती है तो झुकना पड़ता है
शायद मैं तुमसे लम्बा हूँ
– असरार-उल-हक असरार
हवा की ओर जलते हुए दीपक निकल रहे थे
हमें इन अंधकारों को परखना होगा
– नजीर मेरठी
दुआ सलाम तो ढूंढना ही होगा
जिद्दी फूलों पर एसिड डालना चाहिए
ये आपके दो दुश्मन हैं
आपको हमारे दिल का ख्याल रखना होगा.’
– डॉ. मुकर्रम अदना इश्काबादी
आपने देखा ही होगा
मुझे याद नहीं कि मैंने इसे कहाँ देखा था
– डॉ. यूनुस गाजी
स्वानसी पर सूरज उग आया है
हमारी लाइन अभी सीधी नहीं है
– प्रो. खालिद महमूद
फिर जिन्न हमें तुम्हारे शहर में ले आएगा
हमारे नाम के पत्थर रखो
– अनवार-उल-हक शादान
इस अवसर पर प्रोफेसर असलम जमशेदपुरी, डॉ. आसिफ अली, डॉ. शादाब अलीम, डॉ. अलका वशिष्ठ, डॉ. इरशाद सयानवी, मुहम्मद शमशाद, डॉ. सैयदा, डॉ. इफ्फत जकिया, डॉ. शबिस्तां आस मुहम्मद, डॉ. फराह खान, अनिल शर्मा, भारत भूषण शर्मा, हेमन्त गोयल, जितेन्द्र सी. राज, भारत भूषण शर्मा सीनियर, आबिद सैफी, लवी सैफी, फैजान जफर, फरहत अख्तर, नुज़हत अख्तर, लाइबा, मदीहा असलम सहित बड़ी संख्या में छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। .